नमस्ते दोस्तों, कैसे हो आप9? आज का आर्टिकल होने वाला है, सरसों के तेल से ब्रैस्ट मसाज करने के फायदे इस विषय के बारे में। दोस्तों, हम सभी जानते हैं; महिलाओं में उनके स्तनों का हिसाब काफी नाजुक और संवेदनशील माना जाता है। साथ ही, बच्चे को जन्म देने के बाद स्तनों से निकलने वाले दूध से ही उसका पोषण होता है; जिसके चलते उसका शारीरिक एवं मानसिक विकास संभव हो पाता है।

इसीलिए, महिला के जिंदगी में ब्रैस्ट काफी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। लेकिन, जितना ध्यान महिलाएं अपने शरीर के अन्य हिस्सों पर देती हैं; उतना ध्यान ब्रेस्ट के स्वास्थ्य पर देना भूल जाती हैं! ब्रेस्ट के स्वास्थ्य को लेकर कुछ छोटी-छोटी चीजें होती हैं; जिनको महिलाओं को हमेशा ध्यान में रखना चाहिए और उनको करते रहना चाहिए; ताकि महिलाएं प्राकृतिक तरीके से अपने स्तनों को स्वस्थ एवं सुंदर बनाए रख सकें।

पिछले कुछ सालों से महिलाओं में स्तनों से जुड़ी परेशानियों में काफी बढ़ोतरी देखने को मिली है। खासतौर पर, स्तनों में होने वाले कैंसर की मात्रा पूरे विश्व भर में बढ़ती ही जा रही है। इस समस्या के चलते महिलाएं मानसिक रूप से तनाव में आ जाती हैं और अपने स्तनों का स्वास्थ्य पूरी तरीके से खो देती हैं। हमारा आयुर्वेद शास्त्र काफी पुराना और समृद्ध है।

आयुर्वेद शास्त्र में मानव जाति से जुड़ी लगभग हर मानसिक, शारीरिक तथा यौन संबंधित समस्या का निवारण संभव हो पाता है। आयुर्वेद शास्त्र में बताए गए मालिश तथा मसाज करने के फायदे के बारे में हम सभी वाकिफ हैं। स्तनों के हिस्से को मजबूत बनाए रखने के लिए तथा उसके स्वास्थ्य को बरकरार रखने के लिए महिलाएं सरसों के तेल की मदद से स्थानों पर रोजाना तौर पर हल्के हाथों से मालिश जरूर कर सकती हैं।

सरसों के तेल में विभिन्न प्रकार के पोषक तत्वों के साथ-साथ औषधीय तत्व पाए जाते हैं; जो स्तनों के हिस्से को मजबूती प्रदान करते हैं और उन्हें स्वस्थ बनाए रखने में मददगार होते हैं। सरसों के तेल का इस्तेमाल करते हुए स्तनों की मालिश करने से लचीलापन बढ़ता है, स्तनों का ढीलापन कम होता है, स्तनों के आकार में वृद्धि होती हैं और स्तनों को सुडौल बनाए रखने में भी मदद मिल पाती हैं।

तो आइए दोस्तों, आज जानेंगे; सरसों के तेल से ब्रैस्ट मसाज करने के बारे में पूरी जानकारी।

ब्रेस्ट को मसाज करना चाहिए क्या ? Breast Ko Malish Karna Chahiye kya ?

ब्रेस्ट को मसाज करना चाहिए क्या
ब्रेस्ट को मसाज करना चाहिए क्या

जी हां! दोस्तों, स्तनों को रोजाना तौर पर मसाज या मालिश करने से स्तनों के स्वास्थ्य में वृद्धि होती हैं और वह बरकरार रखने में भी मदद मिल पाती हैं। स्तनों को मसाज करने से विभिन्न प्रकार के फायदे मिलते हैं; जो स्तनों के स्वास्थ्य को बढ़ाते हैं स्तनों को मालिश करने के बाद स्तनों के आकार में वृद्धि होती हैं, वह सुडौल बनते हैं, स्तनों में ब्लड सरकुलेशन बढ़ता है और स्तनों की नसों में आया ढीलापन दूर होकर ब्रैस्ट टाइट बनते हैं।

कई कारणों की वजह से महिलाओं में कम उम्र में ही ढीले ब्रेस्ट की समस्या हो जाती हैं। इस समस्या के चलते महिलाओं के सुंदरता में कमी हो जाती हैं और वह बेडौल दिखने लगती है। अपनी सुंदरता को प्राकृतिक रूप से बढ़ाने के लिए तथा स्तनों के आकार को सुडौल बनाने के लिए महिलाएं स्तनों को मसाज कर सकती हैं। स्तनों को मसाज करने के लिए आप सरसों का तेल, तिल का तेल, बादाम का तेल, नारियल तेल तथा अन्य प्रकार के ऑइल्स का इस्तेमाल कर सकती है।

स्तनों को मसाज करते समय हमेशा इस बात का ध्यान रखना होता है; कि आप स्तनों पर मसाज करते हुए अतिरिक्त दबाव नहीं डाल रही हैं। अतिरिक्त दबाव डालकर मसाज करने से स्तनों को क्षति हो सकती हैं और उनके स्वास्थ्य का खराब हो सर बुरा प्रभाव पड़ सकता है। स्तनों का विकास करने के लिए, स्तनों में दूध के उत्पादन को बढ़ाने के लिए, स्तनों को लिंफेडेमा जैसी समस्याओं से सुरक्षित रखने के लिए, अपने आप को तनाव से राहत दिलाने के लिए तथा ब्रेस्ट कैंसर जैसी गंभीर बीमारी का शुरुआती दौर में ही पता लगाने के लिए महिलाएं रोजाना तौर पर अपने स्तनों की हल्के हाथों से तेल लगाकर मालिश जरूर कर सकती हैं।

ब्रेस्ट को मसाज करने के फायदे क्या है ? Breast Massage Ke Fayde

दोस्तों, महिलाएं अपने ब्रेस्ट को मसाज करने पर निम्नलिखित फायदे का अनुभव कर सकती हैं।

१) ब्रेस्ट कैंसर से बचाव –

पिछले कुछ सालों से महिलाओं में बढ़ते जाने वाले ब्रेस्ट कैंसर जैसी घातक बीमारी से सुरक्षित रहने के लिए महिलाएं अपने स्तनों का रोजाना तौर पर मसाज या मालिश कर सकती हैं। मेलिग्नेंट सेल्स स्तनों में गांठ को बनाती है। अगर महिलाएं रोजाना तौर पर नियमित रूप से हल्के हाथों से स्तनों की तेल लगाकर मालिश करती हैं; तो बाहरी दबाव पड़ने की वजह से यह गांठ या सेल्स अपने मूल रूप में वापस आने में मदद मिल पाती हैं।

इसी के साथ, नियमित रूप से ब्रैस्ट मसाज करने पर शुरुआती दौर में कैंसर की गांठ का पता लगाया जा सकता है। दरअसल, जब भी महिलाएं अपने स्तनों को छूते हुए उनका मसाज करती हैं; तब उन्हें स्तनों में गांठ महसूस होती हैं और वह तुरंत डॉक्टर की सलाह लेकर इस समस्या का निदान कर सकती हैं। ऐसा होने पर महिलाएं शुरुआती दौर में ही ब्रेस्ट कैंसर की समस्या का पता लगा सकती है।

२) मांसपेशियों में ऐंठन –

कई बार कुछ कारणों की वजह से महिलाओं के स्तनों की मांसपेशियों में ऐंठन तथा तनाव का अनुभव होता है; जिसके चलते उन्हें स्तनों में दर्द तथा खिंचाव जैसी परेशानियां होती हैं। ऐसे में, अगर महिलाएं नियमित रूप से स्तनों की मालिश करती हैं; तो मांसपेशियों में मजबूती उत्पन्न होती हैं और मांसपेशियों का आराम भी मिलता है। ऐसा होने पर महिलाएं अपने स्तनों की मांसपेशियों में आए तनाव से राहत पाती हैं और उसकी वजह से होने वाले दर्द से भी उन्हें छुटकारा मिलता है।

३) दूध का उत्पादन बढ़ाए –

स्तनपान कराने वाली माताओं के लिए स्तनों की मालिश करने के कुछ विशेष फायदे देखने को मिलते हैं। स्तनपान कराने वाली माताओं के स्तनों में काफी संवेदनशीलता आ जाती हैं। ऐसे में, ब्रेस्ट की नियमित रूप से मसाज करने पर यह संवेदनशीलता कम होती है और दूध के उत्पादन में भी बढ़ावा देखने को मिलता है। साथ ही, ऐसे माताओं में रोजाना तौर पर ब्रेस्ट की मालिश करने पर ब्लड सरकुलेशन में बढ़ोतरी होती है; जिसके चलते आसपास के ऊतकों को ढीला करने में मदद मिलती है। ऐसा होने पर दूध के प्रवाह में भी सुधार आता है और स्तनपान को भी बढ़ाया जाता है।

४) ब्रेस्ट का लचीलापन –

आजकल कई कारणों की वजह से महिलाओं में कम उम्र में ही सैगी ब्रेस्ट की समस्या हो गई है। ऐसा होने पर महिलाओं के स्तन लटकने लगते हैं और ढीले पड़ जाते हैं; जिसके चलते उनके शरीर का आकार बहुत ही बेडौल दिखने लगता है। अपने ब्रेस्ट के टाइटनेस को फिर से बढ़ाने के लिए और ब्रेस्ट की त्वचा में लचीलापन वापस लाने के लिए महिलाएं रोजाना तौर पर ब्रेस्ट की मालिश कर सकती हैं। दोस्तों, स्तनों की रोजाना तौर पर मालिश करने के बाद महिलाओं के स्तनों की मांसपेशियों में मजबूती आती है और ब्रेस्ट टिश्यू भी स्वस्थ रहते हैं; जिसके चलते स्तनों में लचीलापन बढ़ता है और वह टाइट बनने में मदद मिल पाती हैं।

५) लिंफेडेमा से बचाव –

स्तनों की रोजाना तौर पर मालिश करने से स्तनों की मांसपेशियों में मजबूती उत्पन्न होती है और शरीर में से विषाक्त पदार्थों को बाहर निकाला जाता है। स्तनों की मालिश करने से आपके शरीर का लसिका तंत्र उत्तेजित हो जाता है; जिसके चलते शरीर में से टॉक्सिंस बाहर निकलते हैं और लिंफेडेमा जैसी समस्याओं से भी सुरक्षा मिल पाती हैं।

६) स्तनों का विकास –

किशोरावस्था के दौरान अगर कुछ कारणों की वजह से लड़कियों के स्तनों का विकास ठीक तरीके से नहीं होता है; तो उन्हें रोजाना तौर पर हल्के हाथों से तेल लगाकर अपने ब्रेस्ट के मालिश जरूर करनी चाहिए। तेल लगाकर ब्रेस्ट की मालिश करने से ब्रेस्ट की मांसपेशियों में रक्त प्रवाह बढ़ता है, टिशूज में फैट्स जमा नहीं होते हैं और प्रोलैक्टिन हार्मोन का निर्माण होता है; जिसके चलते लड़कियों के ब्रेस्ट का विकास होना शुरू हो जाता है और काफी हद तक ब्रेस्ट की साइज को बढ़ाने में मदद मिल पाती हैं।

ब्रेस्ट को मसाज करने के लिए सरसों का तेल फायदेमंद क्यों है ? Breast ko Sarso Ke Tel Se Malish Karna

दोस्तों, हमारे भारत देश के कई इलाकों में सरसों का तेल खाना पकाने के लिए इस्तेमाल किया जाता है। साथ ही, बालों की और त्वचा की सुंदरता को बढ़ाने के लिए फीस सरसों के तेल का इस्तेमाल काफी पुराने जमाने से होता आ रहा है। ऐसा इसलिए क्योंकि; सरसों के तेल में अनगिनत प्रकार के पोषक तत्व पाए जाते हैं; जो आपके स्वास्थ्य को बढ़ाते हैं।

इन सभी फायदों के साथ-साथ सरसों का तेल ब्रेस्ट पर लगाने से भी काफी स्वास्थ्यवर्धक लाभ देखने को मिलते हैं। सरसों के तेल में ओमेगा ३, ६ फैटी एसिड, एंटी ऑक्सीडेंट जैसे पोषक तत्व और एंटी बैक्टीरियल, एंटी फंगल तथा एंटी इन्फ्लेमेटरी जैसे औषधीय तत्व भी पाए जाते हैं; जो स्तनों के विकास को बढ़ाने के साथ-साथ उन से जुड़ी अनगिनत प्रकार के समस्याओं से सुरक्षित रख पाते हैं।

स्तनों पर रोजाना तौर पर सरसों का तेल लगाकर हल्के हाथों से मालिश करने के बाद महिलाओं के स्तनों के मांसपेशियों में रक्त प्रवाह बढ़ता है, मांसपेशियां मजबूत बनती है और स्तनों के त्वचा में लचीलापन बढ़ता है; जिसके चलते ब्रेस्ट के ढीलेपन की समस्या से राहत मिलती है तथा स्तनों के स्वास्थ्य को भी बढ़ाया जा सकता है। इसीलिए, स्तनों के स्वास्थ्य को बढ़ाने के लिए सरसों के तेल से मालिश करना काफी फायदेमंद माना जाता है।

सरसो के तेल से ब्रेस्ट मसाज करने का सही तरीका – Sarso KE Oil Se Breast MAssage Karne Ka Sahi Tarika

सरसो के तेल से ब्रेस्ट मसाज
सरसो के तेल से ब्रेस्ट मसाज

दोस्तों, सरसों का तेल लगाकर स्तनों का सही तरीके से मसाज करने के बाद ही इसके अनगिनत स्वास्थ्यवर्धक लाभ देखने को मिलते हैं। अगर महिलाएं गलत तरीके से ब्रेस्ट का मसाज करती हैं; तो उन्हें फायदे होने के बजाय कुछ नुकसान ही देखने को मिलते हैं। तो आइए जानते हैं, सरसों का तेल लगाकर ब्रेस्ट का मसाज करने के सही तरीके के बारे में।

सबसे पहले, सरसों का तेल एक कटोरी में निकालकर हल्का गुनगुना गर्म करें। बाद में, अपने हाथों को अच्छे से साफ कर ले और सुखा लें। उसके बाद, सरसों के तेल का तेल पूरे ही स्तनों पर लगा ले और सर्कुलर मोशन में धीरे-धीरे मालिश करना शुरू करें। स्तनों की मालिश करते हुए आप एंटी क्लॉक वाइज और क्लॉक वाइज तरीके से स्तनों की मालिश कर सकती हैं।

साथ ही, हाथों को ऊपर नीचे की ओर और दाएं से बाएं की ओर करते हुए हल्के हाथों से ब्रेस्ट की मालिश लगभग ५ से १० मिनट तक जारी रखें। आप स्तनों की मालिश सुबह नहाने से पहले तथा रात को सोने से पहले कर सकते हैं। स्तनों की मालिश करते हुए इस बात का हमेशा ध्यान रखें; कि आपको मालिश करते हुए ब्रेस्ट पर अतिरिक्त दबाव नहीं डालना है और बहुत ही धीरे-धीरे हल्के हाथों से ही स्तनों की मालिश करनी है।

सरसों के तेल से ब्रेस्ट को किस समय और दिन में कितनी बार मसाज करना चाहिए ? Breast Ko Sarso Ke Tel Se Malish Kab Aur Kitni Bar Kare ?

दोस्तों, आमतौर पर, दिन में दो बार आप सरसों का तेल लगाकर स्तनों की मालिश कर सकती हैं। सरसों का तेल लगाकर अगर आप अपने ब्रेस्ट की मालिश करना चाहती हैं; तो आप सुबह नहाने से पहले और रात को सोने से पहले ऐसा करके दिन में दो बार स्तनों की लगभग १० से १२ मिनट तक मालिश कर सकती है।

ब्रेस्ट को मसाज करते समय क्या ख्याल रखें ? Breast Massage Karte Samay Kya Khayal Rakhe ?

दोस्तों, जैसा कि हम सभी जानते हैं; महिलाओं के स्तनों का हिस्सा काफी नाजुक और संवेदनशील होता है। अपने स्तनों के के स्वास्थ्य के बारे में सोचते हुए महिलाओं को सस्तनों की मालिश करते हुए कुछ सावधानियां बरतनी आवश्यक मानी जाती हैं; तभी स्थानों की मालिश करने के उचित फायदे देखने को मिलते हैं।

  • अगर आप गलत तरीके से और ब्रेस्ट पर अतिरिक्त दबाव डालते हुए मालिश करती हैं; तो इससे स्तनों की मांसपेशियों में और टिशूज में क्षति उत्पन्न होती हैं तथा स्तनों का स्वास्थ्य बिगड़ सकता है। लेकिन, अगर आप स्तनों की मालिश करते हुए कुछ सावधानियां बरतनी हैं; तो आपको इसके दोगुनी फायदे देखने को मिलते हैं।
  • दरअसल, स्तनों की मालिश करते हुए हमेशा इस बात को ध्यान में रखना चाहिए; कि आप मालिश करते हुए ब्रेस्ट पर अतिरिक्त दबाव ना डालें और बहुत ही धीरे-धीरे हल्के हाथों से ही ब्रेस्ट की मालिश करें। धीरे-धीरे हल्के हाथों से मालिश करने के बाद आपके ब्रेस्ट के टिशूज को आराम मिलता है और मांसपेशियों में रक्त प्रवाह बढ़ता है; जिसके चलते मांसपेशियां मजबूत बनती हैं, ब्रेस्ट के विकास में मदद मिल पाती हैं और ब्रेस्ट का टाइटनेस बढ़ता है।
  • साथ ही, ब्रेस्ट की मालिश करने के लिए आप जिस भी तेल का इस्तेमाल करें; उसको बिलकुल भी ज्यादा गर्म नहीं करना होता है। ब्रेस्ट की मालिश करने के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले तेलों को हमेशा ही हल्का गुनगुना गर्म करें और अतिरिक्त गर्म तेल से ब्रेस्ट की मालिश करने से बचें। अतिरिक्त गर्म तेल से ब्रेस्ट की मालिश करने के बाद ब्रेस्ट की त्वचा को नुकसान हो सकता है और ब्रैस्ट की निप्पल की त्वचा में भी क्षति उत्पन्न हो सकती हैं।

तो दोस्तो, आज के लिए बस इतना ही। उम्मीद है, आपको आज का यह ब्लॉग अच्छा लगा हो। धन्यवाद।

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